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PAK: पिछले 12 सालों में आतंकी घटनाओं में मारे गए 28000 से ज्यादा लोग

पाकिस्तान के सिंध प्रांत में स्थित लाल शाहबाज कलंदर दरगाह में गुरुवार को हुए आत्मघाती बम धमाके में 76 लोगों की जान चली गई जबकि करीब 250 लोग घायल हुए हैं। साउथ एशिया टेररिज्म पोर्टल के मुताबिक 20

लाइव हिन्दुस्तान टीमFri, 17 Feb 2017 11:24 AM

पाकिस्तान के सिंध प्रांत में स्थित लाल शाहबाज कलंदर दरगाह में गुरुवार को हुए आत्मघाती बम धमाके में 76 लोगों की जान चली गई जबकि करीब 250 लोग घायल हुए हैं। साउथ एशिया टेररिज्म पोर्टल के मुताबिक 2003 से लेकर 5 फरवरी 2017 तक पाकिस्तान में आतंकी हमलों में करीब 28201 लोगों की मौत हुई हैं। इसमें सुरक्षा बलों और पुलिस के 6674 जवान भी शामिल थे। इसके अलावा इसी दौरान पाक ने 33363 आतंकियों को मार गिराने में सफलता पाई है।

ग्लोबल टेरिज्म इंडेक्स की एक रिपोर्ट के अनुसार 2015 में जिन पांच देशों में आतंकवाद का सबसे ज्यादा असर रहा उनमें इराक, अफगानिस्तान, नाइजीरिया के अलावा पाकिस्तान और सीरिया शामिल हैं। 2015 में हुई कुल आतंकवाद से जुड़ी मौतों में से 72 फीसदी इन्हीं पांच देशों में हुईं। नेशनल बॉम्ब डाटा सेंटर के द्वारा जारी की गई रिपोर्ट के मुताबिक ब्लास्ट की घटनाओं में पाकिस्तान का विश्व में दूसरा नंबर है। 2016 में पाकिस्तान में कुल 161 बम ब्लास्ट की घटनाएं दर्ज हुई।

आईएस के कारण विश्व भर का ध्यान सीरिया और इराक पर रहा लेकिन तालिबान लड़ाकों के कारण अफगानिस्तान में सबसे ज्यादा हिंसा दर्ज हुई। पाकिस्तान में तालिबान और आईएस दोनों की जड़ें बेहद मजबूत है। 2014 के मुकाबले 2015 में पाक में आतंकी घटनाओं के मामले में करीब 13 फीसदी कमी दर्ज की गई। हालांकि इस साल के शुरुआत से ही पाकिस्तान में बम धमाकों की घटनाएं हो रही हैं। 

हाल ही में बुधवार को पाकिस्तान के कबायली इलाके में तालिबान के दो आत्मघाती हमलावरों ने एक सरकारी परिसर में खुद को उड़ाया था। जिसमें 8 लोगों की मौत हुई थी। इससे एक दिन पहले ही मंगलवार को लाहौर में हुए बम धमाके में 16 लोग मारे गए थे।

अगली स्लाइड में पढ़िए पाकिस्तान की सूफी दरगाह में आईएस का आत्मघाती हमला

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ताजा हमले की जिम्मेदारी आतंकवादी संगठन इस्लामिक स्टेट (ISIS) ने ली है। मेडिकल सुविधाओं को मुहैया कराने वाले संगठन इदी के एक प्रवक्ता ने कहा कि हमले से प्रतीत होता है कि हमला दरगाह में महिलाओं वाले क्षेत्र को निशाना बना कर किया गया था। इस भाग में 30 बच्चों समेत कई महिलाओं की मौत हुई है।

वरिष्ठ पुलिस अधिकारी शब्बीर सत्तार ने बताया कि इस आत्मघाती हमले को एक व्यक्ति ने अंजाम दिया जो भीड़भाड़ वाली इस दरगाह में घुस गया और वहां जाकर उसने खुद को विस्फोट से उड़ा दिया। उन्होंने बताया, "इस हमले में कम से कम 76 लोगों की मौत हुई और 250 से अधिक लोग जख्मी हैं और मृतकों की संख्या और भी बढ़ सकती है।"

पाकिस्तान में एक सप्ताह के भीतर यह पांचवां आतंकी हमला हुआ है। पुलिस के अनुसार यह धमाका सूफी रस्म धमाल के दौरान हुआ। विस्फोट के समय दरगाह के परिसर के भीतर सैकड़ों की संख्या में जायरीन मौजूद थे। तालुका अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक मोइनुद्दीन सिददीकी के हवाले से डान ने खबर दी है कि कम से कम 72 शवों और 250 से अधिक घायलों को अस्पताल लाया गया है। इलाके के अस्पतालों में आपात स्थिति घोषित कर दी गई है। घटनास्थल से अस्पतालों की दूरी बहुत अधिक है। सबसे निकट चिकित्सा परिसर 40 से 50 किलोमीटर की दूरी पर है।

वरिष्ठ पुलिस अधिकारी तारिक विलायत ने बताया कि शुरुआती रिपोर्ट से पता चलता है कि यह आत्मघाती विस्फोट है। विस्फोट दरगाह में महिलाओं के लिए आरक्षित क्षेत्र में हुआ। बचाव अधिकारियों ने कहा कि पर्याप्त एंबुलेंस नहीं होने की वजह से मरने वालों की संख्या बढ़ सकती है। सिंध प्रांत के मुख्यमंत्री मुराद अली शाह ने तत्काल बचाव अभियान चलाने का आदेश दिया और सरकार ने हैदराबाद एवं जमशुरू जिलों के अस्पतालों में आपात स्थिति घोषित कर दी है। लाल शाहबाज कलंदर सूफी दार्शनिक-शायर थे।

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