ट्रेंडिंग न्यूज़

Hindi News झारखंड धनबादसूरत से दूसरे दिन राज्य के 1198 मजदूर पहुंचे धनबाद

सूरत से दूसरे दिन राज्य के 1198 मजदूर पहुंचे धनबाद

कोरोना संक्रमण के कहर ने मजदूरों को अपने घर आने को विवश कर दिया है। कभी जेबें भर कर परदेश से लौटने वाले मजदूर आज खाली हाथ वापस आ रहे हैं। साथ में मायूसी और बेरोजगारी की सौगात ला रहे हैं। गुरुवार की...

कोरोना संक्रमण के कहर ने मजदूरों को अपने घर आने को विवश कर दिया है। कभी जेबें भर कर परदेश से लौटने वाले मजदूर आज खाली हाथ वापस आ रहे हैं। साथ में मायूसी और बेरोजगारी की सौगात ला रहे हैं। गुरुवार की...
1/ 6कोरोना संक्रमण के कहर ने मजदूरों को अपने घर आने को विवश कर दिया है। कभी जेबें भर कर परदेश से लौटने वाले मजदूर आज खाली हाथ वापस आ रहे हैं। साथ में मायूसी और बेरोजगारी की सौगात ला रहे हैं। गुरुवार की...
कोरोना संक्रमण के कहर ने मजदूरों को अपने घर आने को विवश कर दिया है। कभी जेबें भर कर परदेश से लौटने वाले मजदूर आज खाली हाथ वापस आ रहे हैं। साथ में मायूसी और बेरोजगारी की सौगात ला रहे हैं। गुरुवार की...
2/ 6कोरोना संक्रमण के कहर ने मजदूरों को अपने घर आने को विवश कर दिया है। कभी जेबें भर कर परदेश से लौटने वाले मजदूर आज खाली हाथ वापस आ रहे हैं। साथ में मायूसी और बेरोजगारी की सौगात ला रहे हैं। गुरुवार की...
कोरोना संक्रमण के कहर ने मजदूरों को अपने घर आने को विवश कर दिया है। कभी जेबें भर कर परदेश से लौटने वाले मजदूर आज खाली हाथ वापस आ रहे हैं। साथ में मायूसी और बेरोजगारी की सौगात ला रहे हैं। गुरुवार की...
3/ 6कोरोना संक्रमण के कहर ने मजदूरों को अपने घर आने को विवश कर दिया है। कभी जेबें भर कर परदेश से लौटने वाले मजदूर आज खाली हाथ वापस आ रहे हैं। साथ में मायूसी और बेरोजगारी की सौगात ला रहे हैं। गुरुवार की...
कोरोना संक्रमण के कहर ने मजदूरों को अपने घर आने को विवश कर दिया है। कभी जेबें भर कर परदेश से लौटने वाले मजदूर आज खाली हाथ वापस आ रहे हैं। साथ में मायूसी और बेरोजगारी की सौगात ला रहे हैं। गुरुवार की...
4/ 6कोरोना संक्रमण के कहर ने मजदूरों को अपने घर आने को विवश कर दिया है। कभी जेबें भर कर परदेश से लौटने वाले मजदूर आज खाली हाथ वापस आ रहे हैं। साथ में मायूसी और बेरोजगारी की सौगात ला रहे हैं। गुरुवार की...
कोरोना संक्रमण के कहर ने मजदूरों को अपने घर आने को विवश कर दिया है। कभी जेबें भर कर परदेश से लौटने वाले मजदूर आज खाली हाथ वापस आ रहे हैं। साथ में मायूसी और बेरोजगारी की सौगात ला रहे हैं। गुरुवार की...
5/ 6कोरोना संक्रमण के कहर ने मजदूरों को अपने घर आने को विवश कर दिया है। कभी जेबें भर कर परदेश से लौटने वाले मजदूर आज खाली हाथ वापस आ रहे हैं। साथ में मायूसी और बेरोजगारी की सौगात ला रहे हैं। गुरुवार की...
कोरोना संक्रमण के कहर ने मजदूरों को अपने घर आने को विवश कर दिया है। कभी जेबें भर कर परदेश से लौटने वाले मजदूर आज खाली हाथ वापस आ रहे हैं। साथ में मायूसी और बेरोजगारी की सौगात ला रहे हैं। गुरुवार की...
6/ 6कोरोना संक्रमण के कहर ने मजदूरों को अपने घर आने को विवश कर दिया है। कभी जेबें भर कर परदेश से लौटने वाले मजदूर आज खाली हाथ वापस आ रहे हैं। साथ में मायूसी और बेरोजगारी की सौगात ला रहे हैं। गुरुवार की...
हिन्दुस्तान टीम,धनबादFri, 08 May 2020 02:42 AM
ऐप पर पढ़ें

कोरोना संक्रमण के कहर ने मजदूरों को अपने घर आने को विवश कर दिया है। कभी जेबें भर कर परदेस से लौटनेवाले मजदूर आज खाली हाथ वापस आ रहे हैं। साथ में मायूसी और बेरोजगारी की सौगात ला रहे हैं। गुरुवार की सुबह सूरत से राज्य के 1198 मजदूर व उनके परिजनों को लेकर श्रमिक स्पेशल ट्रेन धनबाद पहुंची। स्टेशन से बाहर निकल रहे मजदूरों के चेहरे पर थकान और चिंता की लकीरें साफ झलक रही थीं। उन्होंने बताया कि लॉकडाउन के कारण खाली हो चुकीं उनकी जेबों पर दलालों ने रेल टिकट के नाम पर डाका डाला। घर तो पहुंच गए, लेकिन अब क्या करेंगे सबको यही चिंता खाए जा रही थी।

गुरुवार को यहां पहुंचे मजदूरों से भी टिकट के एवज में मनमाना किराया वसूला गया। 715 रुपए के बदले श्रमिकों ने एक-एक हजार रुपए देकर अपने और परिवार के अन्य सदस्यों के लिए सीट पक्की कराई। बच्चों और सीनियर सीटिजन माता-पिता का भी पूरा किराया वसूला गया। इनमें कुछ यात्री ऐसे भी थे, जिन्हें 725 रुपए में ही टिकट नसीब हुई थी। उन्होंने बताया कि शुरू में बस किराए के नाम पर 10 रुपए अधिक लिए जा रहे थे लेकिन बाद में किराया बढ़कर 765 रुपए और फिर एक हजार रुपए हो गया। ट्रेन सुबह करीब 3.50 बजे धनबाद स्टेशन पहुंची। स्क्रीनिंग के बाद यात्रियों को नाश्ते का पैकेट, पानी और फूल देकर उनके घर भेजने का इंतजाम किया गया। गुरुवार को राज्य के 11 जिलों के मजदूर यहां आए थे, इनमें सर्वाधिक 1,094 गिरिडीह जिले के थे। इन यात्रियों को बस पर बैठा कर स्टेशन से ही सीधे गिरिडीह भेज दिया गया।

किसी यात्री में नहीं मिला कोरोना का लक्षण

गुरुवार को धनबाद आई श्रमिक स्पेशल में किसी भी यात्री में कोरोना के लक्षण नहीं दिखे। स्क्रीनिंग में किसी यात्री का तापमान अधिक नहीं पाया गया। यात्रियों में देवघर के सात, कोडरमा के 30, हजारीबाग के 11, जामताड़ा, सिमडेगा और सरायकेला के एक-एक, पलामू के 29, लातेहार के तीन, गढ़वा जिले के दो और चतरा के पांच यात्री शामिल थे।

गुलाब की जगह यात्रियों को मिली लिली

स्पेशल ट्रेनों से धनबाद पहुंचे छात्र और श्रमिकों को पिछले तीन दिनों से गुलाब फूल देकर उनका स्वागत किया जा रहा था। लेकिन गुरुवार की सुबह लॉकडाउन के कारण जिला प्रशासन गुलाब फूल की व्यवस्था नहीं कर सका। यहां आए यात्रियों को लिली फूल देकर उनका अभिनंदन किया गया। पूछने पर बताया गया कि गुलाब फूल उपलब्ध नहीं होने के कारण यात्रियों को लिली फूल दिया गया।

आज लिंगमपल्ली से 1220 मजदूर आएंगे धनबाद

शुक्रवार को दक्षिण भारत से एक और ट्रेन धनबाद आएगी। तेलंगाना के लिंगमपल्ली से बुधवार की सुबह साढ़े बजे एक श्रमिक स्पेशल ट्रेन खुली है। ट्रेन में झारखंड के विभिन्न जिलों के 1220 यात्री सवार हैं। बताया जा रहा है कि ट्रेन शुक्रवार की दोपहर साढ़े 12 बजे तक धनबाद पहुंचेगी। स्पेशल ट्रेन नागपुर-दीनदयाल उपाध्याय-गया होते हुए धनबाद आ रही है। गुरुवार की देर रात दो बजे आंध्र प्रदेश के कर्नूल से भी एक स्पेशल ट्रेन चलाई जाएगी। यह ट्रेन नौ अप्रैल को सुबह साढ़े छह बजे बरकाकाना पहुंचेगी।

हिन्दुस्तान का वॉट्सऐप चैनल फॉलो करें